रॉल्स रॉयस में 2500 लोगों की छंटनी, Tata के काम से क्या है कनेक्शन?
ब्रिटिश कंपनी रॉल्स रॉयस में बड़े पैमाने पर छंटनी होने जा रही है. कंपनी अपने जेट इंजन कारोबार की री-स्ट्रक्चरिंग कर रही है, क्योंकि कोविड के बाद से ही कंपनी को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है. हालांकि इससे एक बड़ा सवाल खड़ा हुआ है कि क्या इस छंटनी से टाटा ग्रुप के काम की डिलीवरी पर असर पड़ेगा?
कोविड-19 के बाद दुनियाभर में हवाई यातायात बाधित हुआ था. इस वजह से कंपनी को डिमांड में कमी का सामना करना पड़ा. अब कंपनी के बोर्ड ने री-स्ट्रक्चरिंग की प्लानिंग बनाई है. रॉल्स रॉयस हवाई जहाज बनाने वाली कंपनी बोइंग को बड़े पैमाने पर जेट इंजन की सप्लाई करती है.
रॉल्स रॉयस के पास कुल इतने कर्मचारी
ब्रिटेन के डर्बी में मुख्यालय वाली रॉल्स-रॉयस 2500 कर्मचारियों की छंटनी पूरी दुनिया में करने जा रही है. हालांकि किस जगह पर कितने कर्मचारी निकाले जाएंगे, ये कंपनी ने स्पष्ट नहीं किया है. एजेंसी की खबर के मुताबिक रॉल्स रॉयस के दुनियाभर में 42,000 एम्प्लॉइज हैं. इनमें से करीब आधे सिर्फ ब्रिटेन में हैं.
इस पूरे घटनाक्रम को लेकर कंपनी के नए सीईओ ट्यूफान एर्जिन्बिल्गिच का कहना है कि कंपनी अपने आप को नया बना रही है, जो भविष्य के लिए पूरी तैयार होगी. ये ट्रांसफॉर्मेशन कई सालों के लिए होगी. इससे पहले कंपनी ने 2020 में ग्लोबली 9,000 लोगों की छंटनी की थी. उस समय दुनियाभर में हवाई यातायात पूरी तरह बंद हो गया था. कंपनी का कहना है कि इस छंटनी से उसे अपनी लागत को कम करने में मदद मिलेगी, साथ ही सप्लाई चेन के डिले को कम करने में मदद मिलेगी.
Tata के काम से कनेक्शन?
इस छंटनी के बाद सवाल उठता है कि क्या इससे टाटा के काम में देरी होगी. दरअसल टाटा ग्रुप ने एअर इंडिया के विस्तार के लिए 470 नए विमानों का ऑर्डर दिया है. इसमें करीब आधे विमानों की सप्लाई बोइंग करने वाली है. बोइंग को सिर्फ दो कंपनियों से इंजन की सप्लाई होती है. इसमें एक जीई और दूसरी रॉल्स रॉयस है. अब देखना ये है कि इस छंटनी का असर क्या टाटा को विमान की डिलीवरी पर पड़ता है. हालांकि इसे लेकर दोनों कंपनियों की ओर से आधिकारिक तौर पर कुछ नहीं कहा गया है.